नई दिल्ली. कोरोना वायरस ने पिछले कुछ सालों में दुनिया को हिलाकर रख दिया. यह पीछा नहीं छोड़ रहा. भारत में अब कोरोना के नए वेरिएंट ने दस्तक दी है. यह कोरोना का सबसे नया सबवेरिएंट जेएन.1 है, जो अमेरिका में तेजी से बढ़ रहा और अब केरल में इसका पहला मरीज पाया गया है. केरल में कोरोना के नए सबवेरिएंट की पुष्टि भारतीय सार्स-सीओवी 2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम ने की है. नेशनल इंडियन मेडिकल एसोसिएशन कोविड टास्क फोर्स के वाइस प्रेसिडेंट डॉ. राजीव जयदेवन ने अपने बयान में कहा ‘जेएन.1 भारत में, विशेष रूप से केरल में हाल ही में कोविड-19 के मामलों में वृद्धि का एक प्रमुख कारक हो सकता है.’ विशेषज्ञों का कहना है कि, ‘सर्दी का मौसम शुरू होने के साथ नए मामलों की संख्या बढ़ सकती है.’ अगर भारत में कोरोना के एक्टिव मामलों पर नजर डालें तो यह 938 हो गई है. केरल में सबसे ज्यादा 768 मरीज हैं.
एक्सपर्ट्स के अनुसार, कोरोना का नया वैरिएंट JN.1 वास्तव में Pirola या BA. 2.86 फैमिली का है. इसने केरल में पहली बार दस्तक दी है. यह पहली बार अगस्त 2023 में यूरोप में डिटेक्ट हुआ था. इसके बाद लक्ज़मबर्ग में नए वेरिएंट का पहला मामला सामने आया है. फिर यह इंग्लैंड, आइसलैंड, फ्रांस और अमेरिका में पहुंच गया. अमेरिका में वैज्ञानिकों ने JN.1 वेरिएंट को ज्यादा संक्रामक पाया, क्योंकि यह वैक्सीन की इम्युनिटी को चकमा दे सकता है.
क्या हैं कोरोना के नए वैरिएंट JN.1 के लक्ष्ण
- बुखार
- लगातार खांसना
- जल्दी थकान होना
- नांक बंद होना
- दस्त
- सिर में दर्द
अमेरिका में JN.1 और EG.5 या एरिस के बाद HV.1 भी तेजी से हावी हो रहा है. अमेरिका में लगभग 30 प्रतिशत नए COVID-19 मामलों के लिए HV.1 जबकि JN.1 करीब 21 प्रतिशत नए कोरोना मामलों के लिए जिम्मेदार है.